Friday, December 26, 2014

धरनास्थल के लिए शासन से हरी झंडी का इंतजार


संवाद सूत्र, लखनऊ : स्थाई नियुक्ति की मांग को लेकर बीपीएड डिग्रीधारकों का धरना आमरण अनशन में बदल गया। बुधवार को 21 डिग्रीधारकों ने भूख हड़ताल शुरू कर दी। प्रदेश सरकार पर लगाते हुए डिग्रीधारकों ने लिखित आश्वासन मिलने तक आमरण अनशन समाप्त करने का एलान किया।
प्रशिक्षित बीपीएड संघर्ष मोर्चा उप्र के आह्वान पर विभिन्न जिलों से राजधानी आए सैकड़ों डिग्रीधारक लक्ष्मण मेला स्थल पर दूसरे दिन भी डटे रहे। डिग्रीधारकों ने एकत्र होकर प्रदेश सरकार के खिलाफ अनशन शुरू किया। डिग्रीधारकों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर अपना आक्रोश जताया। मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष धीरेंद्र यादव ने कहा कि सपा सरकार प्रदेश के बीपीएड डिग्रीधारकों के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है, जिससे डिग्रीधारकों में रोष व्याप्त होता जा रहा है। सपा ने विधानसभा चुनाव से पूर्व बीपीएड डिग्रीधारकों को रोजगार देने का वादा किया था, लेकिन ऐसा नहीं हुआ।


प्रदेश महासचिव आकाश गुप्त ने कहा कि वर्ष 2011 की टीईटी परीक्षा में बीपीएड डिग्रीधारकों को शामिल नहीं किया गया, जिस कारण डिग्रीधारकों की नियुक्ति सहायक अध्यापक के पद नियुक्ति करने में सरकार हीलाहवाली से काम ले रही है। 



प्रदेश उपाध्यक्ष बृज्येंद्र सिंह ने कहा कि जल्द ही सरकार की तरफ से कोई सकारात्मक पहल न होने पर डिग्रीधारक अपने आंदोलन को तेज करने पर मजबूर होगा। जिसकी पूरी जिम्मेदारी सरकार की होगी। कोषाध्यक्ष बनवारी लाल गुप्ता, संदीप चौबे, सुनील यादव व आकाश गुप्त आदि पदाधिकारियों ने भी सरकार के प्रति अपनी नाराजगी व्यक्त कर मांग पूरी होने तक प्रदर्शन जारी रखने का एलान किया।

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