लखनऊ।
लल्लन मिश्रा को हत्या और साइकल चोरी के आरोप में अदालत से सजा हो चुकी
थी। नियमानुसार सजायाफ्ता व्यक्ति न तो सरकारी सेवा में रह सकता है और न ही
सोसायटी रजिस्ट्रेशन के तहत पंजीकृत और सरकार से मान्यता प्राप्त किसी भी
संस्था और संघ का पदाधिकारी बन सकता है। लेकिन लल्लन मिश्रा ने अपनी सजा का
तथ्य छुपाकर न केवल नौकरी पा ली थी बल्कि वो उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक
शिक्षक संघ के प्रदेश अध्यक्ष भी बन गये। उनके गृह जनपद रायबरेली के कुछ
शिक्षकों ने जब इसकी शिकायत संघ की प्रदेश कार्यसमिति और अधिकारियों से की
तो जांचोपरान्त लल्लन मिश्रा को संघ की प्रांतीय कार्यसमिति ने बहुमत के
आधार पर प्रस्ताव पारित कर संघ की संवैधानिक व्यबस्था के तहत अध्यक्ष पद से
निलम्बित कर दिया था। प्रकरण मा.उच्चन्यायालय में पहुँच गया था जिसकी आज
सुनवाई थी। जिसमें उच्च न्यायलय ने भी उन्हें तत्काल पद से हटाने के
निर्देश रजिस्ट्रार ,फर्म्स सोसायटीज एवं चिट्स लखनऊ को दिए हैं।
ज्ञात हो कि फर्रुखाबाद में विजय बहादुर यादव भी लल्लन ग्रुप के सदस्य
माने जाते है और प्राथमिक शिक्षक संघ के विवादित स्यंभू जिलाअध्यक्ष बने
रहते है|
See also: http://uptetpoint.wapka.me/index.xhtml
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