Thursday, October 31, 2013

शिक्षा महकमे का काला सच : पेंशन के लिए रिटायर शिक्षक ने पेट्रोल डालकर लगाई आग

  • रिटायर शिक्षक ने पेट्रोल डालकर लगाई आग
  • लेखाधिकारी पर लगाया घूस मांगने का आरोप
  • भ्रष्टाचार का शिकार; पेंशन के लिए दौड़ाए जाने से परेशान
  • बलरामपुर अस्पताल में किया गया भर्ती
  • बिना चढ़ावा कुछ नहीं होता यहां
घूसखोरी और भ्रष्टाचार से आजिज सेवानिवृत्त शिक्षक ने बुधवार को पेंशन के लिए दौड़ते-दौड़ते थक-हारकर वित्त एवं लेखाधिकारी के कमरे में पेट्रोल डालकर स्वयं को आग लगा ली। शिक्षक के अलावा लेखाधिकारी भी आंशिक रूप से घायल हो गए। शिक्षक को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। शिक्षक का आरोप है कि पेंशन के लिए लेखाधिकारी बीस हजार रुपये मांग रहे थे। वहीं लेखाधिकारी ने इन आरोपों को खारिज किया है।
शिक्षक सैयद मसूद हसन रिजवी पूर्व माध्यमिक विद्यालय मड़ियांव से इसी वर्ष सेवानिवृत्त हुए हैं। बुधवार को शाम साढ़े चार बजे के करीब वह वित्त एवं लेखाधिकारी कार्यालय पहुंचे और लेखाधिकारी आशुतोष चतुर्वेदी के कमरे में खुद पर पेट्रोल डालकर आग लगा ली। आशुतोष का आरोप है कि शिक्षक ने आग लगाने के बाद उनको भी पकड़ लिया जिससे वह भी आंशिक रूप से घायल हो गए। घटना से कार्यालय में हड़कंप मच गया। कमरे में मौजूद कंप्यूटर ऑपरेटर आरिफ और दूसरे कर्मचारियों ने शिक्षक की आग बुझाई और उन्हें बलरामपुर अस्पताल भेजा।

इस बारे में आशुतोष का कहना है कि मसूद इसी साल रिटायर हुए हैं और जून में उनका फंड भी रिलीज कर दिया गया था। उनकी पेंशन की पत्रवली सितंबर में ही आई थी और 26 सितंबर को अपर निदेशालयवित्त एवं पेशन कोषागार को भेज दी गई है। आशुतोष के मुताबिक पेंशन की पत्रवली भेजने में किसी प्रकार की देरी नहीं हुई है। शिक्षक ने इस तरह का कृत्य क्यों किया यह समझ से परे है। उन्होंने बीस हजार की घूस मांगने के आरोपों को भी सिरे से खारिज किया। हालांकि, शिक्षक मसूद का कहना है कि वह कई दिनों से पेंशन के लिए दौड़ रहे हैं। घर पर बीमार पत्नी  के अलावा कोई नहीं है, एक बेटा है वह नेवी में है। पेंशन जारी कराने के लिए लेखाधिकारी उनसे बीस हजार रुपये मांग रहे थे। मैने कई बार उनसे गुजारिश की, लेकिन वह बिना पैसा लिए सुनने को तैयार ही नहीं थे।
शिक्षा विभाग में सेवानिवृत्त शिक्षकों का बुरा हाल है। गले तक भ्रष्टाचार में डूबे विभाग में बिना चढ़ावे के फाइल एक मेज से दूसरी मेज तक नहीं जाती। यही वजह है कि सालों तक पेंशन के मामले लटके रहते हैं और मजबूरी में मसूद की तरह शिक्षकों को आत्मदाह के लिए मजबूर होना पड़ता है। दरअसल पेंशन के लिए लंबी प्रकिया है, इसमें बाबू तरह-तरह के दांवपेंच निकालकर मलाई खाते हैं। नियमानुसार रिटायरमेंट से छह महीने पहले ही विद्यालय से पेंशन प्रपत्र भेजा जाता है। विद्यालय से यह खंड विकास अधिकारी के यहां जाता है। इसके बाद प्रपत्र वित्त लेखाधिकारी के यहां भेजा जाता है। इसके बाद यह अपर निदेशालयवित्त एवं पेशन कोषागार के यहां निस्तारण के लिए जाता है।


See also: http://uptetpoint.wapka.me/index.xhtml

बीटीसी 2013 : प्रदेश स्तरीय सूची में छिटके जनपद के अभ्यर्थी


Updated on: Wed, 30 Oct 2013 11:20 PM (IST)

बीटीसी 2013 : प्रदेश स्तरीय सूची में छिटके जनपद के अभ्यर्थी

बाहरी अभ्यर्थियों से गुलजार होंगे जिले के बीटीसी संस्थान

बड़ौत : बीटीसी-2013 की प्रदेश स्तरीय सूची में जिले के अभ्यर्थी ढूंढे नहीं मिल रहे हैं। कट ऑफ काफी ऊंची होने के कारण जहां टॉप मेरिट वालों को ही मौका मिल सका है, वहीं दो गुने अभ्यर्थी बुलाने के बावजूद काउंसिलिंग स्थल सूने पड़े हुए हैं।

चौधरी चरणसिंह जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान पर जिले के 11 बीटीसी संस्थानों में प्रवेश के लिए काउंसिलिंग 28 अक्टूबर से प्रारंभ हो चुकी है। जिले में बीटीसी की उपलब्ध कुल 550 सीटें के सापेक्ष यदि आंकलन किया जाए तो अभी 11 गुनी सीटें भरी जानी शेष हैं। काउंसिलिंग के तीन दिनों में कुल 159 अभ्यर्थियों को बुलाया गया था, मगर अभी तक जनपद के सिर्फ 50 अभ्यर्थियों ने ही काउंसिलिंग कराई है। बहरहाल, अभ्यर्थियों का काउंसिलिंग स्थल पर न पहुंचना परेशानी का सबब बना हुआ है। वहीं डायट से एनसीईआरटी ने रोजाना काउंसिलिंग कराने वालों को डाटा भेजा जा रहा है, जहां से प्रदेश के सभी अर्ह अभ्यर्थियों को प्रशिक्षण के लिए संस्थान आवंटित किए जाएंगे। ऐसे में जनपद में बीटीसी संस्थानों की रिक्त रहने वाली सीटों को बाहरी जिलों के अभ्यर्थियों से ही पूर्ण किया जाएगा। इस संबंध में डायट प्राचार्य इंदु बाला गौड़ बताती हैं कि इस बार बाहरी जिलों के अभ्यर्थियों से ही जिले के बीटीसी संस्थानों की सीटें पूरी होंगी।

केवल 35 ने ही कराई काउंसिलिंग

बुधवार को डायट पर एससी, एसटी, ओबीसी श्रेणी की कला वर्ग की महिला अभ्यर्थियों की काउंसिलिंग हुई। कुल 89 अभ्यर्थी बुलाए गए थे, जबकि डायट पर सिर्फ 35 ने ही काउंसिलिंग कराई। गुरुवार को सामान्य श्रेणी की विज्ञान वर्ग की महिला अभ्यर्थियों की काउंसिलिंग होगी।

महिला अभ्यर्थियों ने दिखाया उत्साह


महिला कला वर्ग एससी-एसटी ओबीसी की काउंसलिंग में 239 में से 185 अभ्यर्थी शामिल हुईं

बीटीसी काउंसिलिंग

जागरण संवाददाता, लखनऊ : 47 हजार शिक्षकों की भर्ती के लिए राजकीय इंटर कॉलेज निशातगंज स्थित डायट में चल रही बीटीसी काउंसलिंग के तीसरे दिन महिला अभ्यर्थियों की उपस्थित अन्य दिनों के मुकाबले अधिक रही।

कुल 239 में से 185 महिला अभ्यर्थियों की काउंसलिंग हुई। बुधवार को महिला कला, एससी एसटी ओबीसी की काउंसलिंग हुई। एसटी में चार में से तीन, एससी में 133 में 98 और ओबीसी में 102 में 84 महिला अभ्यर्थी उपस्थित रहीं। पहले और दूसरे दिनों के मुकाबले तीसरे दिन अभ्यर्थियों की संख्या काफी उत्साहवर्धक रही। डायट में 10,454 और 518 निजी कॉलेजों में 25,900 सीटें हैं जिनके लिए काउंसलिंग चल रही है। अब 31 अक्टूबर को महिला विज्ञान और सामन्य श्रेणी काउंसलिंग होगी। विभिन्न श्रेणियों में यह प्रक्रिया नौ नवंबर तक चलेगी। गौरतलब है कि इस बार कटऑफ में मेरिट सूची कम होने की वजह से अधिक संख्या में अभ्यर्थी हैं। कटऑफ में सामान्य वर्ग में महिला कला में 203,40 विज्ञान में 205.47, पुरुष कला में 197.61, विज्ञान में 209.61 वहीं पिछड़ा वर्ग महिला कला में 198.34, विज्ञान में 196.84 व पुरुष कला में 192.14 व विज्ञान में 201.69 है।

See also: http://uptetpoint.wapka.me/index.xhtml

आमरण अनशन शुरू करेंगे टीईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थी

इलाहाबाद : सरकार की ओर से कोई आश्वासन न मिलने से आहत टीईटी उत्तीर्ण अभ्यर्थियों ने जल्द ही क्रमिक अनशन को आमरण अनशन में बदलने का मन बनाया है। अनशनकारी ममता श्रीवास्तव व सरिता पांडेय ने कहा कि प्रदेश सरकार शिक्षकों की भर्ती न करके हजारों परिवार को तबाह कर रही है। अनशन में शैलेश गौतम, अशोक द्विवेदी, सुभाष यादव, आकांक्षा, दयाराम, पंकज चौधरी, लालचंद्र मिश्र, रेखा ओझा, कुलदीपक, अशोक, गौरवबाबू शामिल रहे।

See also: http://uptetpoint.wapka.me/index.xhtml

7 नवंबर को होगी सुनवाई


जागरण ब्यूरो, इलाहाबाद : 72 हजार 825 सहायक प्राथमिक शिक्षकों की भर्ती के संबंध में दाखिल विशेष अपीलों की सुनवाई 7 नवंबर को होगी। बुधवार को सरकार की ओर से अपर महाधिवक्ता चंद्रभान यादव के कोर्ट में उपस्थित न होने के कारण यह तिथि निर्धारित की गई। इस मामले की सुनवाई न्यायमूर्ति अशोक भूषण और न्यायमूर्ति विपिन सिन्हा की खंडपीठ कर रही है। बुधवार को अपीलकर्ताओं की ओर से कई वरिष्ठ अधिवक्ता उपस्थित थे लेकिन सरकार की ओर से अपर महाधिवक्ता नहीं आ सके।



Junior ki counseling November me...
______________________________________________________________________________

High court tet case update UP

TET case no. 237/13, SK Pathak , jiskee hearing aaj huyi thi next date 07/11/2013

This is an UNCERTIFIED copy for information/ reference. For authentic copy please refer to certified copy only. In case of any mistake, please bring it to the notice of Deputy Registrar(Copyi ng).

HIGH COURT OF JUDICATURE AT ALLAHABAD

?Court No. - 37

Case :- SPECIAL APPEAL DEFECTIVE No. - 237 of 2013

Appellant :- Shiv Kumar Pathak And Others
Respondent :- State Of U.P. And Others
Counsel for Appellant :- V.K. Singh,G.K. Singh
Counsel for Respondent :- C.S.C.,A.K. Yadav

Hon'ble Ashok Bhushan,J.
Hon'ble Vipin Sinha,J.
A request has been made on behalf of Shri C.B. Yadav, Additional� Advocate General for taking up the matter on 07/11/2013.
Learned counsel for the appellants submits that there is urgency in the matter since the process of recruitment of Assistant Teachers is held up.
Looking to the urgency in the matter, this appeal as well as other connected appeals be listed on 07/11/2013.
Order Date :- 30.10.2013


See also: http://uptetpoint.wapka.me/index.xhtml

बस टिकट बुकिंग के लिए नेशनल पोर्टल


Click here to enlarge image
नई दिल्ली : देश भर में बस के जरिये कहीं से कहीं भी जाना हो और ट्रेन की तरह घर बैठे कंप्यूटर पर टिकट बुक हो जाए तो कैसा रहेगा? गुरुवार को एक ऐसा राष्ट्रीय पोर्टल शुरू होने जा रहा है, जिसके मार्फत विभिन्न राज्यों के परिवहन निगमों की अंतरराज्यीय बसों की ऑनलाइन बुकिंग संभव हो सकेगी। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री आस्कर फर्नाडिस इसे लांच करेंगे।1पोर्टल के साथ हालांकि थोड़ी दिक्कत है। यह अभी अधूरा है। चुनाव से पहले इसे हड़बड़ी में लांच किया जा रहा है। दरअसल देश के सभी राज्य परिवहन निगम अभी ऑनलाइन नहीं हुए हैं। कई परिवहन निगमों की बसों की बुकिंग इस पोर्टल के जरिये संभव नहीं होगी। 
नई दिल्ली : देश भर में बस के जरिये कहीं से कहीं भी जाना हो और ट्रेन की तरह घर बैठे कंप्यूटर पर टिकट बुक हो जाए तो कैसा रहेगा? गुरुवार को एक ऐसा राष्ट्रीय पोर्टल शुरू होने जा रहा है, जिसके मार्फत विभिन्न राज्यों के परिवहन निगमों की अंतरराज्यीय बसों की ऑनलाइन बुकिंग संभव हो सकेगी। केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री आस्कर फर्नाडिस इसे लांच करेंगे।पोर्टल के साथ हालांकि थोड़ी दिक्कत है। यह अभी अधूरा है। चुनाव से पहले इसे हड़बड़ी में लांच किया जा रहा है। दरअसल देश के सभी राज्य परिवहन निगम अभी ऑनलाइन नहीं हुए हैं। कई परिवहन निगमों की बसों की बुकिंग इस पोर्टल के जरिये संभव नहीं होगी।


प्रदेश में खुलेंगे 9830 और आंगनबाड़ी केंद्र


लखनऊ। प्रदेश में जल्द 9830 और आंगनबाड़ी केंद्र खोले जाएंगे। यह केंद्र ‘आंगनबाड़ी ऑन डिमांड’ योजना के तहत खोले जाने हैं। प्रदेश सरकार ने इसका प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेज दिया है। वहां से हरी झंडी मिलने के बाद प्रदेश में यह केंद्र संचालित हो जाएंगे। इसके बाद सरकार इनमें आंगनबाड़ी व मिनी कार्यकर्ताओं की नियुक्ति करेगी।
गौतमबुद्धनगर में 20 आंगनबाड़ी केंद्र खोले जाएंगे।
केंद्र सरकार ने जिन स्थानों में आंगनबाड़ी केंद्र नहीं हैं, वहां नए केंद्र मांग के आधार पर खोलने की योजना चलाई है। इसी के तहत राज्यों से प्रस्ताव मांगे गए थे। प्रदेश सरकार ने भी जिलों से इसके तहत प्रस्ताव मांगे। विभिन्न जिलों ने अपने यहां कई स्थानों पर आंगनबाड़ी केंद्र व मिनी केंद्र खोलने के प्रस्ताव भेज दिए। विभिन्न जिलों से आए इन प्रस्तावों को बाल विकास सेवा एवं पुष्टाहार निदेशालय ने परीक्षण किया। अंत में इस योजना के तहत 50 जिलों के 9830 आंगनबाड़ी व मिनी आंगनबाड़ी फाइनल किए गए। प्रदेश सरकार ने आंगनबाड़ी ऑन डिमांड योजना के तहत इन केंद्रों को खोलने की मंजूरी केंद्र सरकार से मांगी है। इनमें 1120 मिनी आंगनबाड़ी केंद्र भी शामिल हैं। सबसे ज्यादा बरेली जिले से कुल 1503 आंगनबाड़ी केंद्र खोलने का प्रस्ताव आया है। दूसरा जिला इलाहाबाद है। यहां पर 1089 आंगनबाड़ी व मिनी केंद्र खोले जाने हैं। सबसे कम बिजनौर से केवल एक आंगनबाड़ी केंद्र खोलने का प्रस्ताव आया है।
आंगनबाड़ी ऑन डिमांड योजना के तहत भेजा केंद्र सरकार को प्रस्ताव



सीपीएमटी में चयनित अभ्यर्थी


इस बार रहेंगे प्रवेश से वंचित
लखनऊ (ब्यूरो)। सीपीएमटी-2013 में चयनित छात्र-छात्राएं इस वर्ष सरकारी आयुर्वेद मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश नहीं ले सकेंगे। 2011 बैच के छात्र-छात्राओं को प्रवेश देने के लिए इस सत्र में चार मान्यता प्राप्त मेडिकल कॉलेजों की सीटों को काउंसिलिंग में शामिल नहीं किया गया है। अब इन छात्र-छात्राओं के पास निजी कॉलेजों में प्रवेश लेना ही एकमात्र उपाय बचा है।
प्रदेश में आयुर्वेद चिकित्सा शिक्षा अधिकारियों की लापरवाही से ध्वस्त होने की कगार पर है। बरेली, इलाहाबाद, लखनऊ और बांदा के राजकीय आयुर्वेदिक मेडिकल कॉलेजों को 2013-14 सत्र में बीएएमएस पाठ्यक्रम शुरू करने की अनुमति मिल गई है। इसके बावजूद चारों ही मेडिकल कॉलेजों की सीटों पर काउंसिलिंग नहीं कराई जा रही है। आयुर्वेद निदेशालय के अधिकारियों का कहना है कि 2011 सत्र में अमान्य आयुर्वेद मेडिकल कॉलेजों में प्रवेश लेने वाले सभी छात्र-छात्राओं को 2013 बैच में प्रवेश देना है। यदि कोर्ट से आदेश हो गया तो पुराने छात्रों के प्रवेश के लिए सीटें नहीं बचेंगी।



See also: http://uptetpoint.wapka.me/index.xhtml