Sunday, July 7, 2013

UPMSSCB, UPSESSB / UP TGT PGT कड़ी निगरानी में होगी टीजीटी-पीजीटी परीक्षा नकल रोकने के लिए आवेदन पत्रों की मिक्सिंग होगी




UPMSSCB, UPSESSB / UP TGT PGT कड़ी निगरानी में होगी टीजीटी-पीजीटी परीक्षा नकल रोकने के लिए आवेदन पत्रों की मिक्सिंग होगी

 UPMSSCB, UPSESSB / UP TGT PGT कड़ी निगरानी में होगी टीजीटी-पीजीटी परीक्षा नकल रोकने के लिए आवेदन पत्रों की मिक्सिंग होगी
UP TGT PGT Exam Will Be on 25th August, 1st and 8th September 2013
 इलाहाबाद। उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड की टीजीटी-पीजीटी परीक्षा में अभ्यर्थियों का विश्वास बनाने के लिए कड़ी निगरानी की जाएगी। एक साथ आवेदन करने वाले अभ्यर्थियों का रोलनंबर आगे-पीछे न पड़े, इसके लिए चयन बोर्ड आवेदन पत्रों की मिक्सिंग कर रहा है। इसके जरिए एक ही विषय के दो अभ्यर्थियों को साथ-साथ आवेदन करने के बाद भी आगे-पीछे रोलनंबर नहीं मिलेगा। परीक्षार्थियों को आंसर सीट की कार्बन कॉपी देने के साथ परीक्षा वाले दिन ही सही उत्तर जारी कर दिया जाएगा।

बोर्ड की ओर से टीजीटी-पीजीटी परीक्षा का आयोजन 25 अगस्त, एक और आठ सितंबर को होगा।

चयन बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. देवकी नंदन शर्मा ने बताया कि परीक्षा की शुचिता बनाए रखने के लिए इस बार आवेदन पत्रों की रैंडम तरीके से मिक्सिंग की जा रही है। मिक्सिंग के बाद रोलनंबर और परीक्षा केन्द्रों का आवंटन होगा। इसकी निगरानी वह स्वयं करेंगे। पता चला है कि परीक्षार्थी आवेदन के समय से ही परीक्षा पास करने की जुगत में लग जाते हैं। वह एक साथ आवेदन करने के बाद अनुक्रमांक की आगे-पीछे सेटिंग कर लेते हैं। इस बार आगे-पीछे रोलनंबर की सेटिंग नहीं की जा सकेगी। बताया कि परीक्षा के बाद अभ्यर्थियों को आंसर सीट की कार्बन कॉपी देने के साथ ही परीक्षा वाले ही दिन सभी विषयों के उत्तर जारी कर दिए जाएंगे। परीक्षार्थी अपने उत्तर का मिलान करने के बाद गलत प्रश्नों की आपत्ति चयन बोर्ड को भेज सकेंगे। चयन बोर्ड परीक्षार्थियों की आपत्ति का निस्तारण करने के बाद ही आंसर सीट का मूल्यांकन करेगा। बताया कि 2009 और 2010 की टीजीटी-पीजीटी परीक्षा के प्रश्नों को लेकर छात्रों की आपत्ति के बाद यह निर्णय लेना पड़ा। परीक्षा वाले दिन ही जारी होगा प्रश्नों का सही उत्तर

Sabhaar :  अमर उजाला

Saturday, July 6, 2013

27 से 28 के बीच आएगा UPTET 2013 का रिजल्ट


लखनऊ: उत्तर प्रदेश शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) का रिजल्ट 25 से 27 जुलाई के बीच जारी करने की तैयारी है। इस बार खास बात यह होगी कि उत्तर पुस्तिकाओं का दोहरा यानी दो एजेंसियों से मूल्यांकन कराया जाएगा, ताकि किसी प्रकार की गड़बड़ी की संभावना न रहे। रिजल्ट आने के तुरंत बाद इसके प्रमाण पत्रों का वितरण शुरू कर दिया जाएगा।
सूबे में 27 और 28 जून को 872 केंद्रों पर टीईटी का आयोजन हुआ था। इसमें 7,65,634 परीक्षार्थी शामिल हुए। परीक्षा नियामक प्राधिकारी ने आंसर शीट जारी कर दी है। इस पर आपत्तियां मांगी गई हैं। इनका निस्तारण किया जाएगा।
इस बार टीईटी में काफी कठिन सवाल पूछे गए थे, इसलिए अधिकतर परीक्षार्थियों के कई सवाल छूट गए हैं।
परीक्षा नियामक प्राधिकारी शासनादेश के मुताबिक टीईटी का रिजल्ट जारी करेगा। शासनादेश में परीक्षा के 30 दिन के अंदर रिजल्ट जारी करने की व्यवस्था दी गई है।
  
इसके आधार पर उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन शुरू करा दिया गया है। टीईटी का रिजल्ट आने के बाद इसमें पास होने वाले मोअल्लिम-ए-उर्दू वालों के शिक्षक बनने का रास्ता साफ हो जाएगा।
इसके अलावा जूनियर हाईस्कूलों में सीधी भर्ती के लिए भी टीईटी पास बीएड डिग्रीधारी पात्र हो जाएंगे।

5500 डाक्टरों की भर्ती प्रक्रिया शुरू

लखनऊ: प्रदेश सरकार ने 5500 नए डाक्टरों की भर्ती का प्रस्ताव लोक सेवा आयोग को भेजा है। सरकार ने एक बोर्ड गठित कर सीधी भर्ती करने का प्रस्ताव भी तैयार किया है। चिकित्सा, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री अहमद हसन ने बताया कि पैरा मेडिकल स्टाफ, नर्स, मिडवाइफ के खाली पदों पर जल्द ही भर्ती की जाएगी। उन्होंने कहा कि अब डाक्टरों को तभी वेतन मिलेगा, जब वह माह की पांच तारीख को देखे गए मरीजों का ब्यौरा भेजेंगे। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि डाक्टर ओपीडी रजिस्टर और दैनिक डायरी नियमित नहीं भर रहे हैं। कई डाक्टर लम्बे समय से चिकित्सालयों से गैरहाजिर हैं। जिनकी जानकारी उपलब्ध नहीं करायी जा रही है। उन्होंने डाक्टरों को निर्देशित किया है कि वह मरीजों के आपरेशन का पूरा ब्यौरा भी डायरी में दर्ज करें। अधिकारी उसका निरीक्षण करें। जो डाक्टर इन नियमों करा उल्लंघन करेंगे, उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

 

 

लगे लगाम मुफ्त की घोषणाओं पर


चुनाव आयोग को दिशा निर्देश जारी करने का सुप्रीम कोर्ट ने दिया आदेश कहा, घोषणाओं से होती है चुनावी प्रक्रिया दूषित

लैपटॉप, टीवी आदि बांटने के वादों पर कोर्ट सख्त 26


Click here to enlarge imageजागरण ब्यूरो, नई दिल्ली : सुप्रीम कोर्ट ने एक महत्वपूर्ण फैसले में कहा कि घोषणा पत्रों में मुफ्त लैपटॉप, टीवी, मिक्सर ग्राइंडर, बिजली का पंखा और सोने की थाली देने जैसी लोक लुभावन घोषणाएं भले जनप्रतिनिधित्व कानून में भ्रष्टाचार की परिभाषा में न आती हो, लेकिन इनसे लोग प्रभावित होते हैं। ये चुनाव प्रक्रिया दूषित करती हैं। कोर्ट ने चुनाव आयोग को निर्देश दिया है कि वह घोषणा पत्रों में मुफ्त उपहार की लोक लुभावन घोषणाएं रोकने के लिए दिशा-निर्देश जारी करे। कोर्ट ने आयोग से कहा कि वह इसे महत्वपूर्ण मानते हुए जल्द से जल्द अंजाम दे। कोर्ट ने राजनैतिक दलों को नियमित करने के लिए अलग कानून बनाने की जरूरत पर भी बल दिया। 1न्यायमूर्ति पी. सतशिवम व न्यायमूर्ति रंजन गोगोई की पीठ ने शुक्रवार को यह फैसला तमिलनाडु विधानसभा चुनाव में द्रमुक और अन्नाद्रमुक के घोषणा पत्रों में मुफ्त उपहारों की घोषणा को चुनाव के भ्रष्ट तरीके बताने वाली एस सुब्रमण्यम बालाजी की याचिका का निपटारा करते हुए सुनाया। पीठ ने कहा कि अनुच्छेद 324 के तहत निष्पक्ष और स्वतंत्र चुनाव कराने और विभिन्न उम्मीदवारों के बीच बराबरी का मौका स्थापित करने के लिए चुनाव आयोग आदर्श चुनाव संहिता जैसे दिशा-निर्देश जारी कर सकता है। 1पीठ ने कहा कि उन्हें मालूम है कि चुनाव आयोग सिर्फ चुनाव की तिथि घोषित होने के बाद ही कोई कार्रवाई कर सकता है और चुनाव घोषणापत्र चुनाव की तिथि लागू होने से पहले जारी होते हैं। ऐसी स्थिति में इस मामले को अपवाद माना जाएगा क्योंकि चुनाव घोषणा पत्र सीधे तौर पर चुनाव प्रक्रिया से जुड़ा होता है। हालांकि, कोर्ट ने याचिका पर सीधे तौर पर कोई आदेश देने से इन्कार करते हुए कहा कि जब तक ऐसी घोषणाएं योजना का रूप न ले लें, उन्हें लागू करने के लिए उचित विधेयक और पैसा न जारी हो तब तक कोर्ट उसमें दखल नहीं दे सकता। कोर्ट सरकार के कामकाज में तभी दखल दे सकता है जबकि वह काम असंवैधानिक या गैरकानूनी हो। 1 सरकारी बंगलों से अवैध कब्जा हटाए सरकार-

BTC : बीटीसी के लिए किसी भी जिले में आवेदन की छूट

सत्र 2013 के लिए अगले सप्ताह से शुरू हो सकता है आवेदन



लखनऊ : बीटीसी के सत्र 2013 में भाग लेने के इच्छुक अभ्यर्थी किसी भी जिले से आवेदन कर सकेंगे। बेसिक शिक्षा विभाग ने एक अक्टूबर से सत्र शुरू करने की तैयारी आरंभ कर दी है।
बीटीसी में अब तक अभ्यर्थी अपने जिले में ही आवेदन कर पाते थे। इससे मुश्किल यह आ रही थी कि जिन जिलों में निजी बीटीसी कालेज थे वहां मेरिट काफी नीचे तक पहुंच जाती थी जबकि जहां निजी कालेज नहीं होते थे वहां मेरिट काफी ऊंची रहती थी। प्रदेश के 11 जिलों में एक भी निजी बीटीसी कालेज नहीं हैं। शासन ने इस विसंगति को दूर करने के लिए आवेदकों को किसी भी जिले से आवेदन का मौका देने का फैसला किया है। नई नीति के अनुसार हर साल एक अक्टूबर से सत्र शुरू करने के लिहाज से जुलाई से आवेदन प्रक्रिया शुरू की जानी है। इसी क्रम में शासन ने सत्र 2013 के लिए आवेदन संबंधी शासनादेश और विज्ञापन अगले सप्ताह जारी करने की तैयारी की है। प्रमुख सचिव बेसिक शिक्षा सुनील कुमार ने शुक्रवार को एससीईआरटी के निदेशक सर्वेंद्र विक्रम को बुलाकर इस संबंध में बात की। उन्होंने निदेशक से इस संबंध में प्रस्ताव देने को कहा है।

UPTET 2013 : मांगी आपत्तियां, पहुंची पास करने की सिफारिश

 
UPTET 2013 : मांगी आपत्तियां, पहुंची पास करने की सिफारिश


इलाहाबाद। ‘मैम, मैंने टीईटी प्राथमिक स्तर का पेपर दिया है। आंसर शीट से मिलान किया तो पता चला कि पासिंग परसेंट यानी 60 प्रतिशत अंक हासिल करने के लिए दो नंबर कम हो रहे हैं। आपसे प्रार्थना है कि मुझे दो अंक दिला दें जिससे मैं टीईटी पास कर सकूं। यह मेरे कॅरियर का सवाल है।’
‘मैम, मैंने टीईटी उच्च प्राथमिक स्तर की परीक्षा दी है। प्लीज मुझे पास कर दीजिएगा, ये मेरी जिंदगी और मौत का सवाल है। पढ़ने में थोड़ा अजीब जरूर लग रहा होगा लेकिन यह वास्तविकता है।’
शिक्षक पात्रता परीक्षा देने के बाद परीक्षा नियामक प्राधिकारी ने आंसरकी जारी की है। परीक्षार्थियों से आंसर को लेकर आपत्तियां मांगी गई थी। आपत्तियाें के बीच पास कराने के लिए सचिव, परीक्षा नियामक के पास कराने के लिए सिफारिशों के ढेरों ई मेल पहुंचे हैं।
जिस तरह की नासमझी हाईस्कूल और इंटर के परीक्षार्थी करते हैं वही बीएड, बीटीसी, विशिष्ट बीटीसी और मोहल्लिम की डिग्री हासिल कर चुके युवाओं ने किया है। शिक्षक बनने के लिए टीईटी को अनिवार्य कर दिया गया है, इसलिए परीक्षार्थी खुद को पास करने की दरख्वास्त कर रहे हैं। खास यह कि कई ईमेल ऐसे आए हैं, जिसमें परीक्षार्थियों ने कहा कि उन्होंने परीक्षा के दौरान ओएमआर शीट में कला, विज्ञान, उर्दू वर्ग का गोला तक नहीं भरा है। सचिव से ही उसे भर देने की सिफारिश की गई है। कई परीक्षार्थी तो प्रश्नपत्र की सिरीज के गोले को काला न करने जैसी गलती कर बैठे हैं और चाहते हैं कि उसे ठीक कर दिया जाए। सूत्रों के मुताबिक कुछ परीक्षार्थी तो ऐसे हैं जो परीक्षा के दौरान प्रश्न हल करते रह गए और समय खत्म हो जाने पर ओएमआर शीट नहीं भर पाए। अब ई मेल के माध्यम से उन्होंने सिफारिश की है कि कोई उनका ओएमआर भर दे।
सचिव, परीक्षा नियामक नीना श्रीवास्तव ने स्वीकार किया कि ऐसे ढेरों ईमेल पहुंचे हैं। उनका कहना है कि वेबसाइट पर जारी आंसर की पर आपत्तियां मांगी गई थी। आपत्तियों को छोड़ किसी चीज पर ध्यान नहीं दिया जाएगा। आपत्तियों की जांच के दौरान ऐसे नासमझी वाले मेल छांट कर अलग कर दिए जाएंगे



 

UPTET 2013 : मांगी आपत्तियां, पहुंची पास करने की सिफारिश

 
UPTET 2013 : मांगी आपत्तियां, पहुंची पास करने की सिफारिश

UPTET  / टीईटी / TET Teacher Eligibility Test Updates / Teacher Recruitment News

इलाहाबाद। ‘मैम, मैंने टीईटी प्राथमिक स्तर का पेपर दिया है। आंसर शीट से मिलान किया तो पता चला कि पासिंग परसेंट यानी 60 प्रतिशत अंक हासिल करने के लिए दो नंबर कम हो रहे हैं। आपसे प्रार्थना है कि मुझे दो अंक दिला दें जिससे मैं टीईटी पास कर सकूं। यह मेरे कॅरियर का सवाल है।’
‘मैम, मैंने टीईटी उच्च प्राथमिक स्तर की परीक्षा दी है। प्लीज मुझे पास कर दीजिएगा, ये मेरी जिंदगी और मौत का सवाल है। पढ़ने में थोड़ा अजीब जरूर लग रहा होगा लेकिन यह वास्तविकता है।’
शिक्षक पात्रता परीक्षा देने के बाद परीक्षा नियामक प्राधिकारी ने आंसरकी जारी की है। परीक्षार्थियों से आंसर को लेकर आपत्तियां मांगी गई थी। आपत्तियाें के बीच पास कराने के लिए सचिव, परीक्षा नियामक के पास कराने के लिए सिफारिशों के ढेरों ई मेल पहुंचे हैं।
जिस तरह की नासमझी हाईस्कूल और इंटर के परीक्षार्थी करते हैं वही बीएड, बीटीसी, विशिष्ट बीटीसी और मोहल्लिम की डिग्री हासिल कर चुके युवाओं ने किया है। शिक्षक बनने के लिए टीईटी को अनिवार्य कर दिया गया है, इसलिए परीक्षार्थी खुद को पास करने की दरख्वास्त कर रहे हैं। खास यह कि कई ईमेल ऐसे आए हैं, जिसमें परीक्षार्थियों ने कहा कि उन्होंने परीक्षा के दौरान ओएमआर शीट में कला, विज्ञान, उर्दू वर्ग का गोला तक नहीं भरा है। सचिव से ही उसे भर देने की सिफारिश की गई है। कई परीक्षार्थी तो प्रश्नपत्र की सिरीज के गोले को काला न करने जैसी गलती कर बैठे हैं और चाहते हैं कि उसे ठीक कर दिया जाए। सूत्रों के मुताबिक कुछ परीक्षार्थी तो ऐसे हैं जो परीक्षा के दौरान प्रश्न हल करते रह गए और समय खत्म हो जाने पर ओएमआर शीट नहीं भर पाए। अब ई मेल के माध्यम से उन्होंने सिफारिश की है कि कोई उनका ओएमआर भर दे।
सचिव, परीक्षा नियामक नीना श्रीवास्तव ने स्वीकार किया कि ऐसे ढेरों ईमेल पहुंचे हैं। उनका कहना है कि वेबसाइट पर जारी आंसर की पर आपत्तियां मांगी गई थी। आपत्तियों को छोड़ किसी चीज पर ध्यान नहीं दिया जाएगा। आपत्तियों की जांच के दौरान ऐसे नासमझी वाले मेल छांट कर अलग कर दिए जाएंगे